मेरा नाम बरखा है. मैं आपको अपनी एक सच्ची जवान बहू फक़ कहानी सुना रही हूँ. यह उन दिनों की बात है जब मैं अपने जिस्म से पूरी तरह जवान हो चुकी थी. मेरे मम्मे बड़े बड़े हो गए थे, मेरी बाहों की गोलाई बड़ी सेक्सी हो गयी थी और मैं स्लीवलेस कपड़े पहनने लगी थी. मेरी जांघें मोटी मोटी और कमर पतली हो गयी थी, मेरे चूतड़ उभर आये थे. मेरी चूत पर काली काली घनी झांटें निकल आयीं थीं.
मुझे सेक्स की गन्दी गन्दी बातें करने में बड़ा मज़ा आने लगा था.
मैं अपनी सहेलियों से लंड, बुर, चूत, भोसड़ा की बातें खुल कर करने लगी थी.
साथ ही साथ बड़ी बेशर्मी से बहन चोद, मादर चोद, भोसड़ी वाली जैसी गालियां भी देने लगी थी.
फिर मैं कॉलेज के लड़कों के संपर्क में आ गयी और उनके लंड पकड़ने लगी.
पहले एक का पकड़ा फिर दूसरे का और फिर तीसरे का भी!
इसी बीच मैं सबसे चुदने भी लगी.
मुझे लंड की लत लग गयी थी इसलिए मैं शादी के पहले खूब चुदी हुई थी.
मेरी शादी मेरी 22 साल की उम्र में हो गयी थी.
मेरा पति फौज में था. वह साल में 3/4 बार आता था, 10/12 दिन रहता था और फिर चला जाता था.
जब तक वह रहता था तब तक मैं उससे खूब चुदवाती थी पर जब वह चला जाता था तो मैं लंड के लिए तड़पती रहती थी.
कुछ दिनों के बाद मेरा धैर्य टूट गया और मैं लंड के लिए पराये मर्दों का मुंह ताकने लगी थी.
एक दिन मेरा देवर रोहित गांव से आ गया.
वह हैंडसम था तो मेरा दिल उस पर आ गया तो मैं अपने जिस्म का जलवा उसे दिखाने लगी.
वह मेरे ऊपर मोहित हो गया और एक दिन मैंने उसे मजाक मजाक में नंगा कर दिया.
बदले में उसने भी मुझे नंगी कर दिया.
फिर क्या … मैं उसका लंड चाटने लगी और वह मेरी चूत!
थोड़ी देर बाद उसने लंड मेरी चूत पर रगड़ा और फिर गच्च से अंदर पेल दिया.
मैंने भी उसका साथ दिया.
उसने मुझे उस दिन रात भर चोदा.
सुबह उठकर फिर चोदा.
और जब जाने लगा तो बोला- भाभी, एक बार और चोद कर जाऊंगा.
घर में मैं थी, मेरी सास और ससुर!
दो दिन बाद मेरी सास अपने मायके चली गयी तो घर में मैं और मेरा ससुर रह गए.
अचानक मेरी ननद का फोन आ गया.
मैं उससे बातें करने लगी, फिर गन्दी गन्दी बातें और लंड चूत की बातें भी होने लगीं.
बातों बातों में उसने बताया- भाभी, तेरी सास बड़ी चुदक्कड़ है. वह पराये मर्दों से खूब चुदवाती है और अपने मायके सिर्फ चुदवाने के लिए ही जाती है हरामजादी.
यह सुनकर तो मेरी चूत में आग लग गई.
मेरी लंड पकड़ने की इच्छा जोर पकड़ने लगी.
मैं लंड के लिए मचलने लगी.
मेरे ससुर का नाम बल्लू था.
वह भी 46 साल का मस्त जवान था और मैं भी 23 साल की मस्त जवान थी.
घर में केवल हम दोनों ही थे.
मेरे मन में आया कि मैं इसका लंड पकड़ कर देखूं कैसा है मेरे ससुर का लंड?
मैं लंड के दर्शन करने के लिए उसकी गांड के पीछे पीछे घूमने लगी लेकिन कुछ हल नहीं निकला.
हां, यह बात जरूर हुई की वह मुझे ललचाई नज़रों से घूर घूर कर देखने लगा.
एक दिन मैं बाथरूम से अपनी चूचियों तक तौलिया लपेटे हुए बाहर निकली तो देखा कि मेरा ससुर सामने ही बैठा है.
उसने मुझे देखा तो बोल पड़ा- बहू, आज तुम बहुत खूबसूरत और हॉट लग रही हो.
मैं उसके नजदीक गयी और बोली- हॉट तो तुम भी लग रहे हो बाबू जी!
मैं ससुर को बाबू जी कहती थी.
वह मुस्कराया और चला गया.
उसी दिन रात को मैं अपनी चूचियाँ खोल कर सिर्फ पैंटी पहनकर लेटी हुई थी.
मैं चाहती थी कि बाबू जी मुझे देखें और मेरे ऊपर चढ़ जाएँ.
वह आया तो मुझे घूम घूम कर देखा भी … और अपना लंड सहलाया भी मगर फिर वापस अपने बेडरूम में चला गया.
मेरी झांटें सुलग गयी.
मैंने मन में कहा कि ये भोसड़ी का मर्द है भी या नहीं?
इतनी खूबसूरत नंगी औरत को देख कर भी इसका लंड खड़ा नहीं हुआ.
मैं मन मसोस कर रह गयी.
दूसरे दिन रात को 10 बजे मैं उसके कमरे में रोज़ की तरह एक गिलास दूध लेकर गयी.
मैं जैसे ही कमरे में घुसी तो वहां का नज़ारा देख कर दंग रह गई.
मेरी चूत साली ने एकदम से पानी छोड़ दिया.
मैंने देखा कि बाबू जी एकदम नंगे नंगे टी वी को म्यूट करके ब्लू फिल्म देख रहे हैं और अपना लंड हिला रहे हैं.
फिल्म में एक बेहतरीन चुदाई चल रही थी.
बाबू जी का खड़ा लंड देख कर मैं बुरी तरह ललचा गयी.
फिर मैंने गिलास को एक कोने में रखा, अपना गाउन उतार कर नंगी हो गयी और बाबू जी का लपलपाता हुआ लंड पकड़ लीया.
वह भौचक्का रह गया, बोला- अरे बहू तुम?
मैंने कहा- हां बाबू जी मैं … ये लंड हिलाने का काम मेरा है तुम्हारा नहीं!
वह उत्तेजित हो गया तो बोला- चूचियाँ दबाने का काम मेरा है तुम्हारा नहीं.
उसने मुझे अपने ऊपर लिटा कर अपने बदन से मेरे बदन को चिपका लिया.
बड़ी देर तक हम दोनों ससुर बहू चिपके हुए लेटे रहे.
बहुत दिनों के बाद मुझे एक मस्त मर्द के नंगे बदन का मज़ा मिल रहा था.
फिर मैंने अपना बदन ढीला किया और उसके ऊपर चढ़ गयी, अपनी चूत उसके मुंह पर रख दी.
वह मेरी चूत चाटने लगा और मैं उसका लंड चाटने लगी.
हम दोनों 69 की पोजीशन का मज़ा लेने लगे.
उसका लंड बहनचोद लम्बा भी था और मोटा भी!
मैं इतना मोटा लंड पहली बार देख रही थी.
लंड का टोपा बिलकुल पहाड़ी आलू जैसा था और बहुत खूबसूरत लग रहा था.
मैं लंड अधिक से अधिक मुंह में घुसेड़ कर चूसने लगी; मुंह के अंदर ही टोपा के चारों ओर जबान घुमाने लगी.
फिर क्या … ससुर की सिसकारियां निकलने लगीं.
वह बोला- वाओ बरखा … बड़ा मज़ा आ रहा है बहू. मेरा लंड किसी ने पहले इतनी अच्छी तरह नहीं चूसा. तू सच में बड़ी मस्त चीज है यार. और चूस मेरा लंड. पूरा चूस डाल मेरा लंड!
ससुरा भी मेरी चूत में जबान घुसेड़ कर जबान से ही चूत चोदने लगा.
मैं मस्ती से वासना में डूबती जा रही थी.
कुछ देर में मैंने सिसकारियां लेते हुए कहा- हाय मेरे राजा, अब रुका नहीं जा रहा. पेल तो अपना भोसड़ी का लंड बल्लू और चोद डाल मेरी चूत, फाड़ डाल मेरी चूत!
उसने भी देर नहीं लगाई और लंड चूत पर रगड़ते हुए गच्च में पेल दिया अंदर!
मेरे मुंह से चीख निकल पड़ी- उई माँ मर गयी मैं … बड़ा मोटा है तेरा मादर चोद लंड! तू भी भोसड़ी का बड़ा बेरहम है. एक ही बार में पूरा घुसा दिया लंड! तू साला भडुआ तेरी बहन का भोसड़ा!
मैंने प्यार से उसे गालियां दीं.
मगर उसने कुछ नहीं सुना और भकाभक चोदने लगा.
मैं भी अपनी गांड हिला हिला कर मजे से चुदवाने लगी.
हर झटके का जबाब झटके से देने लगी.
पूरे घर में धच्च धच्च, भच्च भच्च, फच्च फच्च की आवाज़ गूंजने लगी और चुदाई की महक भी पूरे घर में फ़ैल गयी.
एक ससुर अपनी बहू को कितनी मस्ती से चोदता है, यह मुझे पहली बार महसूस हो रहा था.
जवान बहू फक़ में मेरी सिसकारियां निकल रही थी और उसके मुंह से गालियां!
बोला- तू भोसड़ी वाली बिलकुल रंडी बन चुकी है बरखा! कमीनी कुत्ती … आज मैं तुझे चोद चोद अपनी भूख मिटाऊंगा. मुझे इससे पहले इतनी मस्तानी चूत चोदने को कभी नहीं मिली. तुझे तो मैं बहुत बड़ी रंडी बना दूंगा बरखा.
तब तो मैं भी उत्तेजित हो गयी और बोली- मादरचोद तुझे अपनी बहू चोदने में कोई शर्म नहीं आ रही है? तू साला कुत्ता हरामजादा पागलों की तरह चोद रहा है मुझे! बेटी चोद!
वह बोला- बरखा एक बात सुन ले, चुदाई में लंड चूत के अलावा कोई और रिश्ता नहीं होता!
मैंने कहा- अच्छा … तो क्या तू अपनी बेटी भी इसी तरह चोदगा?
वह बोला- हां क्यों नहीं चोदूंगा? अगर मेरे खड़े लंड के आगे मेरी बेटी आ जाए तो मैं उसे भी चोद डालूंगा.
मैंने कहा- ठीक है भोसड़ी के बल्लू … यह बात याद रखना.
ऐसा बोल कर मैं फिर उछल उछल चुदवाने लगी और गालियां भी सुनाने लगी.
इतने में उसने मुझे घोड़ी बना दिया और पीछे से लंड पेल कर चोदने लगा.
वह मुझे बड़ी देर तक चोदता रहा.
न मेरी चूत खलास हो रही थी और न उसका लंड.
मैंने मन में कहा- साला बहन चोद इसका लंड बड़ा हक्कानी है और बड़ी देर तक चोदने वाला है. बड़ा गज़ब का स्टैमिना है इसके लंड में! मुझे तो ऐसा ही लंड पसंद है.
वह चोदने की स्पीड बढ़ाता गया और मैं भी अपनी गांड आगे पीछे करती हुई चुदवाती चली गई.
बस 5 मिनट में ही मेरी चूत ने पानी छोड़ दिया.
ढीली हो गई मेरी चूत!
तब तक मुझे महसूस हुआ कि वह भी झड़ने वाला है.
तो मैंने घूम कर अपना मुंह लंड के सामने कर दिया और फिर सारा का सारा वीर्य मेरे मुंह में जा गिरा जिसे मैं गटक गयी.
उसके बाद हम दोनों ससुर बहू लिपट कर नंगे नंगे ही सो गए.
सवेरे 4 बजे जब मैं उठी तो देखा कि ससुर का लंड सोया हुआ है उसका टोपा एकदम बाहर निकला हुआ था.
मुझे उस पर प्यार आ गया.
मैंने जबान से लंड का टोपा उठाया और आहिस्ते से लंड पूरा मुंह में भर लिया.
मैंने जैसे ही जबान लंड पर घुमाई, वैसे ही वह जग गया, बोला- हाय मेरी रानी, आ जा … मैं फिर तुझे एक बार चोदूंगा.
उसने मुझे चिपका लिया और फिर चुपके से लंड चूत पर टिका कर पेल दिया अंदर!
उसे फिर चोदने में मज़ा आने लगा और मुझे चुदवाने में!
कहते हैं कि सबसे अच्छी चुदाई सवेरे की चुदाई होती है.
मैंने उस चुदाई का पूरा फायदा उठाया.
सवेरे जब वह अपने सारे कपड़े उतार कर नंगे नंगे नहाने के लिए जाने लगा तो मैं उसका लंड देख कर मुस्करा पड़ी.
वह बोला- किसे देख कर मुस्करा रही है मेरी जान?
मैंने कहा- तेरे इस बेटीचोद लंड को देख कर मुस्करा रही हूँ.
वह बोला- मेरा लंड बेटीचोद नहीं बहूचोद है!
मैंने कहा- मैं तेरे लंड को बेटीचोद बना दूँगी.
उसने मेरे गाल बड़े प्यार से थपथपाया और कहा- अब मैं तुझे नहाने के पहले एक बार फिर चोदूंगा. तू साली बड़ी मस्त चीज है. मैं तुझे जितना चोदता हूँ उतना और चोदने का मन करता है.
फिर अचानक मेरी ननद का फोन आ गया.
जैसे ही मेरी ननद प्रिया का फोन आया और मैंने हेलो कहा वैसे ही मेरा ससुर बाथ रूम चला गया मूतने!
उसे नहीं मालूम हुआ कि फोन किसका है.
मैंने कहा- यार प्रिया, मैं अपने ससुर से चुदने जा रही हूँ. मैं भी नंगी हूँ और वह भी नंगा है.
वह बोली- अरे वाह … खूब मज़ा लूट रही हो मेरी बरखा भाभी. लगता है तुम रंडी बन चुकी हो बिलकुल अपने ससुर से चुदवा चुदवा कर?
मैंने कहा- यार, कुछ भी हो … मुझे तो लंड चाहिए बस लंड! मैं लंड के बिना रह नहीं सकती. मेरे ससुर का लंड इतना लम्बा मोटा है कि मुझे वह एक ही नज़र में भा गया.
वह बोली- अच्छा सुनो भाभी, मैं कल आपके घर आ रही हूँ अपने ससुर के साथ!
मैंने कहा- अच्छा! लगता है कि तू भी भोसड़ी वाली अपने ससुर का लंड लेती है?
उसने कहा- वह सब मैं आकर बताऊँगी भाभी. फोन बंद करती हूँ, तुम जाओ और मेरे पापा से चुदो.
फोन कटा तब तक ससुर बाथरूम से वापस आ गया.
वह मुझे नंगी को बेड पर ले गया और बोला- किसका फोन था?
मैंने उसका लंड हिलाते हुए बता दिया- मेरी ननद रानी प्रिया का फोन था. वह कल अपने ससुर के साथ यहाँ आ रही है.
यह सुनकर वह बड़ा खुश हुआ और फिर चुपचाप बैठ गया.
मैंने पूछा- क्या हुआ तुम चुप क्यों हो गए?
वह बोला- यार बरखा, एक बात तुमसे कहना चाहता हूँ.
मेरा एक दोस्त हैं रहमत अली.
एक दिन मैं उसके घर गया और उसके बेड रूम में घुस गया.
वहां मैंने देखा कि वह अपनी बेटी चोद रहा है.
मैं सॉरी कह कर वहां से जाने लगा तो उसने मुझे रोक लिया और कहा यार बल्लू यहीं बैठो और हमारी पूरी चुदाई देखो.
तो मैं बैठ गया और देखने लगा चुदाई!
बड़ी मस्त चुदाई थी उन दोनों की!
चुदाई के बाद उसने मुझे नाश्ता वगैरह कराया, खूब बातें की.
और जब मैं जाने लगा तो बोला- यार बल्लू, अब तुम मेरी बेटी चोद कर जाना.
तब तक उसकी बीवी भी आ गयी.
वह भी बोली- हां भाई जान, अब तुम मेरी बेटी को मेरे सामने ही चोदो. उसे एक नए लंड का मज़ा मिलेगा तो वह बहुत खुश होगी.
फिर मैं क्या करता … मैंने उनकी इच्छा पूरी की और उसकी बेटी को बड़ी मस्ती से चोदा.
मुझे वाकयी बड़ा मज़ा आया.
मैंने कहा- आपने ठीक किया यार! इसमें परेशान होने की क्या बात है?
वह बोला- बरखा यार, अगर उसने कहा कि बल्लू अब मैं तेरी बेटी चोदूंगा तो मैं क्या जवाब दूंगा? एक बात बताऊँ अब तुमसे क्या छुपाना … उसकी बेटी को चोद कर मुझे इतना मज़ा आया कि अब मैं अपनी बेटी चोदना चाहता हूँ. मैं वही मज़ा लेना चाहता हूँ जो रहमत अली अपनी बेटी को चोद कर ले रहा था. पर ये सब होगा कैसे … पता नहीं?
मैं हंस कर बोली- अरे मेरे भोले राजा, भोसड़ी के बल्लू … ये सब मुझ पर छोड़ दो. तुम चिंता न करो, मैं तेरा लंड तेरी बेटी की चूत में पेल दूंगी. यह मेरा काम है और ये काम करना मुझे बखूबी आता है.
यह सुनकर उसका चेहरा खिल उठा और फिर उसने अपना लंड गप्प से मेरी चूत में पेल दिया.
इस बार वह मुझे और ज्यादा ताकत से चोदने लगा.
मैं भी उतनी ही उत्तेजित होकर चुदवाने लगी.
फिर वह बोला- यार बरखा, आज मैं तेरी गांड भी चोदूंगा.
मैंने कहा- चोद ले यार, मेरी गांड तेरी ही अमानत है.
उसने लौड़ा मेरी गांड में पेला तो मेरी दर्द के मारे आँखें निकल आई.
लेकिन फिर मज़ा आने लगा.
मैं पहली बार गांड मरवा रही थी … वह भी अपने ससुर से!
तब पता चला कि गांड मरवाने का मज़ा क्या होता है.
अगले दिन मेरी ननद प्रिया अपने ससुर के साथ आ गई.
प्रिया बेहद खूबसूरत सेक्सी और हॉट लड़की है.
उसके बूब्स बड़े बड़े, बाहें निहायत खूबसूरत और आँखें कजरारी हैं.
उसकी गांड तो गज़ब की मटकती है.
एकदम गोरी चिट्टी गुलाबी होंठों वाली है मेरी ननद.
लोग उसे देख कर अपना लंड सहलाने लगते थे.
आते ही वह मेरे गले लग गयी, बोली- भाभी, तुम तो पहले से ज्यादा सुन्दर लग रही हो.
फिर उसने मुझे अपने ससुर रज्जू से मिलवाया.
मैं उससे पहली बार मिली.
वह बड़ा स्मार्ट और हैंडसम था.
मेरा तो दिल उस पर आ गया.
शाम को प्रिया बोली- भाभी, एक राज़ की बात मैं तुम्हे बता रही हूँ, मैं अपने ससुर से चुदवाती हूँ. मुझे उसका लंड बहुत पसंद है. वह मेरी चूत और गांड दोनों मजे से चाटता है, मेरा बहुत ख्याल भी रखता है. मेरी झांटें वही बनाता है. मुझे मालूम है कि तुम भी अपने ससुर से चुदवाती हो भाभी!
मैंने कहा- हां चुदवाती तो हूँ.
फिर वह तपाक से बोली- भाभी जी, तो फिर तुम अपने ससुर का लंड मुझे पकड़ा दो न! मैं अपने पापा का लंड लेना चाहती हूँ. एक दिन मैंने पापा का लंड दूर से देखा था तो मेरी चूत गीली हो गयी थी लेकिन लंड मैं कभी पकड़ नहीं पाई उसका! मेरी सभी सहेलियां अपने पापा से चुदवातीं हैं तो अब मैं भी अपने पापा से चुदवाना चाहती हूँ.
मैंने कहा- ठीक है, मैं तुम्हे अपने ससुर का लंड पकड़ा दूँगी, तुम मुझे अपने ससुर का लंड पकड़ा देना. बात बराबर हो जाएगी.
वह बोली- मुझे मंजूर है.
फिर मैंने उसको अपना प्लान बता दिया और उसी प्लान के मुताबिक सब कुछ होने लगा.
रात के 10 बज चुके थे.
मैं अपने कमरे में नंगी लेटी थी.
इतने में मेरा ससुर आया.
मैंने उसे भी नंगा कर दिया.
मैं बड़े प्यार से उसका लंड पकड़ कर हिलाने लगी, चूमने लगी और चाटने लगी.
वह मेरे नंगे बदन से खेलने लगा.
इतने में मेरी ननद कमरे में आ गया.
आते ही वह बोली- हाय दईया बरखा भाभी, तेरे हाथ में मेरा पापा का लंड? इतना बड़ा लंड? इतना मोटा लंड? ऐसा लंड तो मैंने पहले कभी नहीं देखा. इतना बड़ा और मोटा लंड तो मेरे ससुर का भी नहीं है भाभी.
यह सुनकर मेरा ससुर बोल पड़ा- बेटी प्रिया, क्या तुम अपने ससुर का लंड लेती हो?
वह बोली- अरे पापा, मैं उसका लंड पकड़ती ही नहीं बल्कि पेलवाती भी हूँ अपनी चूत में! मैं अपने ससुर से बिंदास चुदवाती हूँ. दिन में 3 बार तो वह मुझे चोद ही लेता है. मैं तो तुम्हारा लंड भी पकड़ना चाहती हूँ पापा!
मैंने कहा- तो फिर पकड़ कर देख लो न अपने बाप का लंड ननद रानी! मज़ा ले लो न … किसने रोका है तुम्हें?
फिर क्या … प्लान के अनुसार उसने अपनी शाल गिरा दी.
अंदर से वह पूरी नंगी ही थी.
नंगी बेटी को देख कर मेरे ससुर का लंड और तन कर खड़ा हो गया.
प्रिया ने जब अपने बाप का लपलपाता हुआ लंड पकड़ा तो लंड बहनचोद और फुफकार मारने लगा.
तब प्रिया लंड पकड़ कर मस्त हो गयी और उसे मुंह में लेकर चूसने लगी.
मैं उसकी चूत चाटने लगी और ससुर मेरी चूत चाटने लगा.
थ्रीसम का मज़ा आने लगा हम सबको!
फिर अचानक मैं उठी और बाहर चली गयी.
थोड़ी देर में मैं ननद के ससुर का लंड पकड़े पकड़े नंगी नंगी उन दोनों बाप बेटी के सामने आ गयी.
मैंने कहा- अरी मेरी बुरचोदी ननद रानी, तू मेरे ससुर का लंड चाट रही है तो अब मैं तेरे ससुर का लंड चाटूँगी.
ऐसा बोल कर मैंने उसे बेड पर बल्लू के बगल में लिटा दिया और उसका लंड चूसने लगी.
हम दोनों ननद भौजाई एक दूसरी के ससुर का लंड चाटने में जी जान से जुट गयीं.
मेरे ससुर ने अपनी नंगी बेटी को कस कर दबोच लिया और उसके नंगे जिस्म से खेलने लगा.
वह बोला- बेटी प्रिया, आज मेरी तमन्ना पूरी हो रही है. बहुत दिनों से तुझे चोदना चाहता था आज जी भर कर चोदूंगा तुझे!
प्रिया बोली- हां पापा, मेरी भी बहुत दिनों से तमन्ना थी तेरा लंड पकड़ने की! आज जब हाथ में तेरा लंड आया तो मज़ा आ गया. अब मैं इस मादरचोद को अपनी चूत में पेल कर पूरा मज़ा लूंगी. अपनी बहू को चोद चोद कर तेरा लंड साला बड़ा मोटा हो गया है पापा!
ऐसा बोल कर ननद अपने पापा का लंड मुंह में डाल कर चूसने लगी.
मैं उधर रज्जू के लंड का स्वाद ले रही थी और वह मेरी चूत का स्वाद!
कुछ देर में उसने मुझे सोफे पर बैठा दिया और मेरी दोनों बड़ी बड़ी चूचियों के बीच में लंड पेल दिया.
वह मेरे दोनों दूध चोदने लगा.
तब तक उधर बल्लू ने अपनी बेटी की चूत में लंड पेल पेल कर चोदने लगा.
वह बोला- बेटी प्रिया, आज मैं तेरी चूत फाड़ डालूँगा. तुझे मैं आज रंडी की तरह चोदूंगा. इतनी टाइट और जवान चूत मुझे बहुत दिनों के बाद मिली है.
प्रिया बोली- हां भोसड़ी के भडुवे … चोद ले अपनी बिटिया की चूत रंडी की तरह! बना दे मुझे रंडी ताकि मुझे रोज़ रोज़ नए नए लंड मिलते रहें. तेरे लंड की बहन की बुर साले कुत्ते की तरह चोद मुझे! मैं देखती हूँ तेरे इस मादरचोद लंड में कितना दम है.
बल्लू फिर जी जान से धकाधक चोदने लगा प्रिया की चूत!
तब तक रज्जू ने भी मुझे चोदना शुरू कर दिया.
हम दोनों की चूत का बाजा एक साथ बजने लगा.
फचर फचर की आवाज़ ने सबको मस्त कर दिया.
चुदाई की महक ने सबको मदहोश कर दिया.
हम दोनों के मुंह से सिसकारियां निकलने लगीं- आआ आआआ होओ ओओओ हणंन्न हाय रे … मज़ा आ रहा है! ऊऊऊओ ही ही हो सीईई ऊऊओ वाओ होओओ ओओओओ!
इतने में बल्लू ने प्रिया की गांड में घुसेड़ दिया लंड!
लंड पूरा घुसा तो वह चिल्ला पड़ी- फट गयी मेरी गांड! भोसड़ी के बल्लू, तूने इतना मोटा लंड क्यों पेल दिया मेरी गांड में?
बल्लू ने कहा- मैं जानता हूँ कि तू बहुत बड़ी चुदक्कड़ है. मेरा लंड साला सट्ट से तेरी गांड में घुस गया. बता हरामजादी कुतिया, कितने लंड खा चुकी है तू अब तक?
प्रिया बोली- गिना तो नहीं … पर हां 15/16 लंड मेरी चूत खा चुकी है. और उनमें से 10/12 लंड तो मेरी गांड भी खा चुकी है बल्लू!
अब प्रिया की बेशर्मी देखने वाली थी.
वह बोली- बल्लू, तू मेरा बाप नहीं, मेरा बॉयफ्रेंड है. तू मेरा प्रेमी है मैं तेरी प्रेमिका हूँ. मुझे चोद खूब चोद!
प्रिया की बातों ने बल्लू के लंड में जोश भर दिया.
वह प्रिया की चूत घपाघप चोदने लगा.
उधर रज्जू ने लंड मेरे मुंह में घुसा दिया और मेरे बाल पकड़ कर मेरा मुंह ही चोदने लगा.
वह बोला- यार बल्लू, तेरी बहू तो लंड बड़े मजे से चूसती है.
बल्लू ने कहा- हां यार, तेरी बहू भी लंड खाने में बड़ी माहिर है. रंडी की तरह चुदवा रही है मुझसे!
रज्जू कुछ ही पल में मेरे मुंह में झड़ गया.
उसके वीर्य से मेरा मुंह भर गया पर मैं सारा का सारा वीर्य गटक गई.
उधर बल्लू के लंड ने भी पिचकारी छोड़ दी.
प्रिया तो एक एक बूँद चट कर गयी.
ग्रुप फॅमिली सेक्स में हम दोनों भी बुरी तरह खलास हो चुकी थीं.
दूसरी पारी में रज्जू ने कहा- यार बल्लू, इस बार हम लोग अपनी अपनी बहू चोदें तो मज़ा आये!
बल्लू ने कहा- हां सही है. तुम मेरे सामने अपनी बहू चोदो, मैं तेरे सामने अपनी बहू चोदूँ. तब मालूम होगा कि हमारी बहुएं अपने अपने ससुर से कैसे चुदवातीं हैं!
फिर क्या … बल्लू रज्जू के सामने अपनी बहू बरखा को चोदने लगा और रज्जू बल्लू के सामने अपनी बहू प्रिया को चोदने लगा.
बल्लू ने अपनी बेटी को रज्जू से चुदती हुई देखा तो बोला- यार रज्जू, मेरी बेटी बड़ा मस्त चुदवा रही है तुमसे!
रज्जू ने बताया- हां यार, तुम सही कह रहे हो. हकीकत यह है कि मेरी 3 बहुएं हैं. उनमें से सबसे ज्यादा अच्छी तरह से चुदवाने वाली बहू प्रिया ही है. इसलिए मैं अक्सर प्रिया को ही चोदता हूँ और खूब एन्जॉय करता हूँ.
हम दोनों ननद भौजाई ने आमने सामने अपने अपने ससुर से खुल्लम खुल्ला चुदवाकर खूब मज़ा लूटा.