गांड मारने की बजाए खुद की मरवा आया

हिंदी गांड चुदाई स्टोरी में पढ़ें कि मैं सेक्स करना चाहता था. कोई चूत ना मिली तो मैंने एक लड़के को गांड मरवाने के लिए पटाया. मैं उसकी गांड मारने उसके घर गया तो …

नमस्ते दोस्तों! मेरा नाम आदि है यह मेरी अपनी कहानी है। मैं भोपाल का रहने वाला हूं मेरी उम्र 21 वर्ष है। मैं दिखने में गोरा और पतला हूँ और मेरा लंड 6 इंच का है। तो दोस्तो, हिंदी गांड स्टोरी पर आते है। हुआ यों कि सेक्स की लालसा में पोर्न देखते देखते एक बार गे पोर्न विडियो खुल गई।

उस मूवी में एक लड़का उलटा लेटा हुआ था; दूसरा उसकी गांड पर लंड लगाए हुए उस को पेल रहा था. तब मेरा भी मन हुआ कि क्यों ना किसी लड़के की गांड मारी जाए. वैसे तब तक मैंने कभी चुदाई नहीं की थी।

इसीलिए मैंने फेसबुक पर एक फेक अकाउंट बनाया और ऐसे लड़कों की तलाश करन लगा जो अपनी गांड मरवाते थे।

इसी बीच मेरी कई लड़कों से बात हुई.
लेकिन उनमें से कोई ऐसा साहसी ही नहीं निकला जो मुझसे मिल सके और आगे का काम कर सके.

फिर एक दिन ढूंढते ढूंढते मुझे राहुल नाम का एक लड़का मिला।
उसकी उम्र 30 साल थी.

धीरे-धीरे उससे बात शुरू हुई तो मालूम चला कि उसे गांड मरवाने में मजा आता है।

उसने बताया कि उसने पहले भी अपनी गांड मरवाई है.

फिर मैंने 1 दिन हिम्मत करके उससे मिलने को कहा.
यह मेरा पहला अनुभव था कि मैं किसी से इस तरह मिलने जा रहा था.

मेरे मन में एक डर भी था परंतु मैंने मन बना लिया था कि राहुल से मैं मिलूंगा।

राहुल ने बताया कि वह रूम लेकर अकेला रहता है तथा शाम को मुझसे मिल सकता है.

उन दिनों दिसंबर की ठंड ने मुझे और उत्तेजित कर दिया।

मैं पैदल ही निकल गया. उसका रूम पास में ही था.

जैसे ही मैं उसके दिए पते पर पहुंचा, मैंने उसको फोन लगाया.

वह खिड़की से झांक कर मुझे ही देख रहा था.
उसकी नजरों ने मुझे पहचान लिया तथा मेरे उभरे हुए जींस से उसे पता चल गया कि मैं ही वह प्यासा हूँ.

उसने मुझे खिड़की से ही आवाज देकर ऊपर बुलाया.

यह मेरी राहुल से पहली मुलाकात थी.

दिखने में उसका गठीला बदन मुझे आमंत्रण दे रहा था.

मैं डरता डरता ऊपर गया.
उसने गेट खोला और मुझे अंदर ले लिया।

मैं खड़ा था, मेरे हाव भाव से ऐसा लग रहा था जैसे मैं गांड मारने नहीं मरवाने आया हूं।
उसने कहा- डरो मत, हम दोस्त की तरह हैं।

मैं थोड़ा शांत हो गया.
फिर उसने कहा कि चलो शुरू करते हैं।

उसने मेरी टीशर्ट उतार दी और खुद अपनी टी-शर्ट उतार दी.
मेरे हाव भाव किसी शर्मीली लड़की की तरह थे।

अब उसने अपना हाथ मेरी जींस के अंदर डाल दिया और मेरे लंड को सहलाने लगा.

मैं कामुकता से अपनी आंखें बंद करके उसका आनन्द ले रहा था।
और मैं उसके शरीर पर हाथ फिराता रहा.

मैंने भी अपना हाथ उसके लंड पर लगाया, उसका लंड एकदम कठोर हो चुका था. उसका लंड 6 का था.

मुझे उसके लंड को पकड़ना बहुत अच्छा लगा तथा मैं उसे सहलाने लगा।

वह मेरी गले पर चुंबन कर रहा था.

अब उसने अपने होंठ मेरे होंठों पर टिका दिए और मेरे और अपने सारे कपड़े उतार दिए।

मैं उतावला हो रहा था. मुझे उसका लंड बहुत पसंद आया.

मैंने उसके लंड को हाथ से पकड़ा और हिलाने लगा.

तभी एकाएक मैं नीचे झुका और उसके लंड को मुंह में ले लिया.
और मैं बहुत अच्छे से उसका लंड चूसने लगा.

यह देखकर मैं हैरान हो गया कि उसने भी मेरा सिर पकड़ कर मेरे मुख से अपने लंड की खूब मसाज करवाई.

फिर थोड़ी देर मेरे रुकने के बाद वह झुका और मेरे लंड को अपने मुंह में ले लिया.

अब मेरे विचार एकदम बदल गए थे। अब मेरी इच्छा अपनी गांड मरवाने की हो रही थी.
मैंने उससे कहा- मुझे भी अपनी गांड मरवानी है।

वह हैरान हो गया.
पर उसको इस पर कोई आपत्ति नहीं थी.

उसने मुझे बिस्तर पर पटक दिया.
मैं किसी लड़की की तरह बिस्तर पर निढाल हो गया.
और उसने पास रखी कोल्ड क्रीम उठाई और अपने लंड पर लगायी.

मैं डर रहा था.
तो मैंने उससे कहा- देख भी, मैंने माभी नहीं किया ऐसा काम … तुम आराम से करना।

उसने मुझे आश्वासन दिया कि वह आराम से करेगा.

फिर उसने अपना मुंह मेरी गांड पर लगाया और अपनी जीभ से मेरी गांड को चाटने लगा.

मुझे आनंद की अनुभूति हुई।

मैं आंखें बंद करके उसकी जीभ का मजा लेने लगा.

अब उसने अपनी उंगली पर क्रीम लगाई और मेरी गांड के अंदर उंगली डाल दी.
मेरी टाइट गांड में उंगली जैसे ही गयी, मुझे दर्द का एहसास हुआ.

मैं सहम गया लेकिन उसकी उंगली कहीं मुझे आनंद भी दे रही थी।

मैंने आंखें बंद कर ली और सिसकारियां लेने लगा. मुझे सिसकारियाँ लेते देख उसने मेरा लंड अपने मुंह में ले लिया.

अब एक तरफ वह मेरे लंड को चूस रहा था और दूसरी तरफ धीरे-धीरे अपनी उंगली मेरी गांड में अंदर बाहर कर रहा था.
शायद वह इस काम में निपुण था।

वह मेरी गांड को ढीला कर रहा था जिससे लंड के जाने पर ज्यादा दर्द ना हो।

अब उसने मेरी टांगों को अच्छे से फैलाया और उसने अपने लंड का सुपारा मेरी गांड पर रख दिया कुछ देर लंड को गांड पर सहलाने के बाद उसने अपने लंड धीरे-धीरे मेरी गांड में डालना शुरू कर दिया।

शुरुआती दौर में मुझे दर्द हुआ लेकिन लंड ने धीरे धीरे मेरी गांड में अपनी जगह बना ली थी।
थोड़ा सा लंड मेरी गांड में जा चुका था, मुझे दर्द हो रहा था. मैं सिसकारियाँ ले रहा था.

लेकिन उसके हाथ मेरे लंड को सहलाने लगे जिससे मेरा दर्द कम हो गया।

तब उसने थोड़ा सा झटका मारकर थोड़ा लंड और अंदर कर दिया।
वह अनुभवी लग रहा था इसलिए धीरे-धीरे मेरी गांड खोल रहा था.

उसका करीब आधा लंड मेरी गांड के अंदर था और मुझे दर्द हो रहा था.

तभी उसने एक तेज धक्का मारा.
मेरी तो जैसे जान ही निकल गई. मेरी तेज आवाज निकली और उसने अपना हाथ मेरे मुँह पर रख दिया.

इस अवस्था में उसका पूरा लंड मेरी गांड के अंदर था।
मुझे बहुत दर्द हो रहा था.

उसने धीरे-धीरे अंदर बाहर करना शुरू कर दिया।
मेरी एक टांग उसके कंधे पर थी और दूसरी बिस्तर पर!

कुछ देर बाद मुझे मजा आने लगा. अब मैं भी अपनी गांड को उठा उठा कर उसका साथ दे रहा था।

तभी उसने अपना लंड मेरी गांड से निकाला और मुझे घोड़ी बनने को कहा.
मैं उठा और घोड़ी बन गया.

उसने अपने अनुभव का परिचय देते हुए तकिया मेरे पेट के नीचे लगा दिया और अपने लंड पर क्रीम लगाते हुए उसने अपना लंड मेरी गांड में डाल दिया।
मुझे एक बार फिर दर्द हुआ.
लेकिन इस बार उसकी मिठास ही कुछ अलग थी।

वह मुझे पीछे से चोद रहा था और मेरी दर्द और आनन्द मिश्रित सिसकारियां निकल रही थी।

मेरी आवाज कमरे की दीवार से टकराकर मेरे कानों तक वापस आ रही थी.
साथ ही गांड और लंड की रगड़ की पाच पाच की मिली जुली आवाज मुझे और कामुक बना रही थी।

मेरी गांड में उसके लंड के झटके तेज होते गए; इतनी तेज कि मुझे दर्द होने लगा.
और इसी तेजी के साथ उसने अपना गर्म गर्म वीर्य मेरी गांड में छोड़ दिया.

उसका गर्म रस मेरे अंदर हिचकोले मार रहा था।
मैं सोच भी नहीं सकता था कि मैं वहां गांड मारने गया था पर अपनी कुंवारी गांड मरवा कर आ गया.

मुझे अपनी गांड खुली खुली महसूस हो रही थी।

इसके बाद में कई बार राहुल के पास गया और अपनी गांड मरवाई.
लेकिन अब मैं अपनी गांड मरवाने के साथ-साथ उसकी भी गांड मारने लगा.

दोस्तो, कैसी लगी आपको मेरी हिंदी गांड स्टोरी? मुझे कमेंट्स में और मेल करके बतायें.
धन्यवाद.
आपका अपना आदि
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