यह कहानी एक सीरीज़ का हिस्सा है:
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अभी तक आपने पढ़ा कि लॉज के मैनेजर ने जीजा के साथ मेरी चुदाई की आवाजें सुन लीं और वो दरवाजा खोल कर अंदर आ गया. उसने हमें पुलिस में देने की धमकी दे डाली तो हम जीजा-साली डर गये. जीजा-साली की चुदाई को वह लॉज का मैनेजर बाप-बेटी की चुदाई समझ रहा था. वो मुझसे अकेले में पूछताछ करना चाहता था इसलिए उसने जीजा को बाहर भेज दिया और मुझे नंगी करके पूछताछ के बहाने से मेरी चूत को चाटने लगा.
अब आगे:
भोला सिंह ने कहा- मुझे अपने बाप की तरह समझ और खुल कर इंजॉय कर … यह जिंदगी मजा लेने के लिए है. मैं तुझे पूरे मजे दूंगा आज.
उसकी बात सुन कर मैं उससे खुलने लगी. मैं बोली- तुम भी आराम से करो भोला, तुम्हारा जो मन करे वो कहो मुझे, तुमने मेरे अंदर सेक्स की हलचल मचा दी है. मेरी चूत को चाट डालो अच्छे से. तुमने मेरी चूत को बहुत गर्म कर दिया है भोला. चूस जाओ इसको आह्ह …
मैं उसके सिर को अपनी चूत में दबाने लगी.
फिर भोला को एक शरारत सूझी और वो अपना एक हाथ पीछे मेरे कूल्हों पर ले गया. मेरे कूल्हों पर हाथ को रगड़ते हुए उन्हें फैला कर उसने अपनी उंगली मेरी गांड में डाल दी. उसकी उंगली पतली ही थी इसलिए आधी उंगली घुस गई मेरी गांड में. मुझे दर्द होने लगा तो मैं बोली- क्या कर रहे हो भोला?
वो बोला- तेरी गांड का नाप ले रहा हूं. देख रहा हूं कि तेरी गांड कितनी कितनी गहरी है. दोनों तरफ चोदूंगा आज तुझे. पहले तेरी चूत को चोदूंगा मेरी रंडी और उसके बाद तेरी गांड को भी पेलूंगा. एक ठाकुर की चुदाई का ऐसा मजा दूंगा तुझे कि तू अपनी सारी चुदास भूल जायेगी मेरी रंडी.
वो मेरी गांड में उंगली चलाने लगा और मैं दर्द के मारे उससे लिपट गई. वो उंगली को पूरी घुसा कर पेलने लगा.
मैंने कहा- निकाल लो प्लीज … बहुत दर्द हो रहा है. पीछे वाला छेद बहुत टाइट है मेरा.
वो बोला- जब तू उंगली नहीं ले पा रही तो लौड़ा कैसे लेगी? अभी मुझे तेरी गांड में थोड़ी सी जगह बनाने दे.
भोला सिंह तेजी के साथ मेरी गांड में उंगली चलाता रहा और मुझे मजा आने लगा. आगे की तरफ वो मेरी चूत को कुत्ते की तरह चपड़-चपड़ करके चाट रहा था. मेरी चूत को चाटने से जो मजा मुझे आ रहा था उसके कारण मुझे गांड का दर्द महसूस नहीं हो रहा था.
मैं भोला को अपनी तरफ खींचने लगी. उसको पकड़ कर अपनी तरफ खींचते हुए नाखूनों से नोंचने लगी.
मैं बोली- भोला जल्दी करो, नीचे से वो लोग भी आते होंगे. अब मुझसे और बर्दाश्त नहीं हो रहा है. चोद डालो मुझे अब अपने लंड से मेरे ठाकुर भोला.
उसने मेरी दोनों टांगों को फैला दिया और मेरी बहती चूत में उंगली डालने लगा तो उसकी दोनों उंगलियां मेरी चूत में सट से घुस गई.
वो बोला- तू तो पूरी छिनाल है. इतनी कम उम्र में इतनी फैल गई है तेरी चूत … मगर मेरी रांड तू ये नहीं जानती कि मेरा लौड़ा इन उंगलियों से दस गुना ज्यादा बड़ा है.
कहते हुए उसने मेरी दोनों टांगों को ऊपर उठा लिया और अपने कंधे पर रख लिया. फिर उसने अपनी पैंट की जिप खोली और अपना लंड बाहर निकालने लगा.
उसका लंड देख कर मेरी चुदास और बढ़ गई. आह्ह … कितना मस्त लंड था भोला का. मेरी चूत में जो आग लगी हुई थी उसको भोला का लंड अच्छी तरह बुझा सकने वाला दिख रहा था. एकदम मोटा और लम्बा जैसे कोई बैंगन हो.
उसने अपने लंड को मेरी चूत के सुराख पर टच करवाया तो मैंने अपनी कमर उठा दी और उछल कर बोली- मेरी इस चूत की आग को शांत कर दे भोला.
जैसे ही उसका लंड मेरी चूत पर लगा तो मुझे मजा आ गया. मैं अब उसके स्पर्श से और ज्यादा चुदासी हो गई थी. लेकिन वो लंड को बार-बार चूत के बाहर ही फिरा रहा था.
मैंने कहा- जल्दी डाल हरामी, मैं चुदना चाहती हूं तेरे इस मोटे लंड से. मेरी आग को और ज्यादा मत भड़का.
भोला ने मेरी चूत पर लंड लगाकर मुझे अपनी तरफ खींचते हुए एक जोर का धक्का मारा और एक ही झटके में भोला का मोटा लंड मेरी चूत को चीरता-फाड़ता हुआ अंदर घुस गया और मैं दर्द के मारे ऐसी चिल्लाई कि मेरी आवाज पूरे लॉज में पहुंच गई. मुझे बेहद दर्द हुआ और मैं चिल्लाने लगी.
लेकिन भोला को कोई फर्क ही नहीं पड़ रहा था. वह अपने लंड को अंदर-बाहर करने लगा. साथ ही मुझे गालियां भी दे रहा था- साली, तू इतनी चुदक्कड़ है कि अपने बाप से भी चुदवाती है और मेरे सामने दर्द होने का नाटक कर रही है. साली छिनाल, आज मैं तेरी चूत को चोद-चोद कर कुएं जितनी गहरी कर दूंगा. फिर तू भोला का लौड़ा आराम से ले पायेगी.
वह मेरी चूत को तेजी के साथ पेलने लगा और फच-फच की आवाज पूरे कमरे में सुनाई देने लगी. उसकी चुदाई को कुछ पल बीत गये तो अब मुझे भी थोड़ी-थोड़ी राहत महसूस होती जा रही थी. भोला ने मेरे दूधों को पकड़ लिया और पूरी ताकत के साथ मसलने लगा.
बहुत मजा लेने लगी थी मैं उसकी चुदाई का और उससे और तेज चोदने के लिए कह रही थी. उसका मोटा लंड मेरी चूत में गपागप अंदर-बाहर हो रहा था.
मैं बोली- हां भोला, चोद, जितना मन करे उतना चोद मुझे. मैं तेरा लौड़ा लेकर मस्त हो गई हूं.
भोला के लंड से चुदते हुए मैं मजा ले रही थी और भोला ठाकुर मेरी चूत में अपने मोटे लंड को पेलता जा रहा था. उसकी स्पीड बहुत तेज थी. मेरी चूत की खुजली अच्छी तरह मिटने लगी थी. इतने में ही रूम का दरवाजा खुला और दरवाजा खुलते ही जीजा और वो नौकर कमरे में आ गये.
जीजा मुझे चुदते हुए देख कर भोला को गाली देने लगे, बोले- मादरचोद, तूने ये बात करने के लिए मुझे अपने नौकर के साथ भेजा था? तुझे शर्म नहीं आती? ये छोटी सी बच्ची तेरी पोती की उम्र की है और तू इसकी चूत को चोदने में लगा हुआ है! हरामी साले, तुझे नर्क में भी जगह नहीं मिलेगी. इसे छोड़ दे, वरना मैं तुझे बहुत मारूंगा.
इतना कहकर जीजा भोला की तरफ बढ़ने लगे. मगर भोला के नौकर ने जीजा को पकड़ लिया. नौकर बोला- चुपचाप खड़े रहो, अगर ज्यादा बकवास की तो बिना हाथ पैर के ही रह जाओगे. तुम जानते नहीं कि भोला ठाकुर कितना खतरनाक आदमी है.
भोला ने कहा- आने दे इसको. साले को चार-पांच लात लगाऊंगा तो इसका दिमाग ठिकाने पर आ जायेगा. साला खुद अपनी बेटी को चोदता है और मेरे सामने ज्ञान बांट रहा है. तेरी सारी हेकड़ी निकाल दूंगा साले, वरना चुपचाप खड़ा रह. तू देख नहीं रहा कि तेरी बेटी बंध्या कैसे खुश हो रही है मेरा लौड़ा लेकर? मैंने इसके साथ कोई जबरदस्ती नहीं की है, ये अपनी मर्जी से ही चुद रही है. अगर तूने ज्यादा बकवास की तो तुझे अभी थाने ले चलूंगा.
भोला की धमकी पर जीजा चुपचाप खड़े हो गये.
भोला मेरी तरफ मुंह करके बोला- बंध्या तू घबरा मत, जब तू इसके सामने मेरे लंड से चुदती रहेगी तो इसका लंड भी अपने आप ही खड़ा हो जायेगा. तू बस मेरे लौड़े के मजे लेती रह मेरी रंडी. तेरा बाप साला कौन सा दूध का धुला हुआ है? जब ये तेरी चूत के मजे ले सकता है तो तुझे भी तो पूरा हक है अपनी चूत को किसी और के लंड से चुदवाने का.
फिर भोला ने मेरी गर्दन पकड़ ली और अपने लौड़े को तेजी के साथ पूरी ताकत लगाकर मेरी चूत में घुसा कर अंदर-बाहर करने लगा. वह बहुत ही तेजी के साथ झटके मार रहा था. मैं कुछ ही देर में यह भूल गई कि जीजा भी मेरी चूत की चुदाई को खड़े होकर देख रहे हैं. भोला मस्त चुदाई कर रहा था मेरी चूत की.
मैंने भोला से कहा- और ताकत लगा भोला, पूरी ताकत के साथ मेरी चूत को फाड़ दे.
मेरे कहने पर भोला ने और जोर लगाया और पूरी ताकत के साथ मेरी चूत में धक्के मारने लगा.
वह नौकर भी भोला और मेरी चुदाई को देख कर बोला- साहब, ये तो कयामत लग रही है. मेरा मन भी इसको चोदने के लिए करने लगा है. आप चाहे मुझे पगार मत देना लेकिन इसकी चूत का स्वाद लेने दीजिए मुझे भी.
भोला बोला- साले तू बहुत चालू है. वैसे तो तेरे कारण ही ये आइटम मुझे चोदने के लिए मिली है. तेरा हक भी बनता है इस पर. तू भी कर लेना. लेकिन अभी मुझे तो मजे लेने दे इस मस्त माल के। लेकिन तू नहीं होता तो ये आइटम मुझे भी नहीं मिल पाती. वैसे तू इसके लायक तो नहीं है लेकिन फिर भी मैं इससे पूछ लेता हूं कि ये तेरे साथ करने के लिए तैयार है या नहीं.
इतना कहकर भोला ने मुझसे पूछा- बंध्या, तुझे कोई दिक्कत तो नहीं है अशफाक का लंड लेने में?
अब मैं क्या कहती उसको. मैंने कहा- अभी तो तू ही कर भोला. मैं जब बाद में कभी आऊंगी तो ये भी कर लेगा.
नौकर बोला- नहीं साहब, मुझे तो अभी करना है. मेरा लंड नहीं मानेगा अब. बंध्या, चाहे तू हाथ से ही मेरा लंड हिला दे लेकिन अब मैं इंतजार नहीं कर सकता.
भोला ने कहा- बंध्या, तू अपने हाथ से ही इसका लंड रगड़ दे. नहीं तो ये ऐसे ही कवाब में हड्डी बना रहेगा. इसका पानी निकाल देगी तो ये शांत हो जायेगा. यह बहुत वफादार है. जब भी तू कभी दोबारा यहां पर आयेगी यह तेरी बहुत सेवा करेगा.
फिर भोला ने नौकर से कहा- अब खड़ा-खड़ा क्या देख रहा है, निकाल ले अपनी पैंट और दे दे अपना लंड बंध्या के हाथ में.
देखते ही देखते उस नौकर ने अपनी पैंट और अंडरवियर निकाल दिया. वह केवल शर्ट में रह गया. मेरे सिर की तरफ आया और मेरा एक हाथ अपने हाथ से पकड़ कर अपना लंड मेरे हाथ में दे दिया. उसने मेरे एक दूध को पकड़ कर दबाना शुरू किया और बोला- आह्ह .. बहुत ही मस्त आइटम है ये तो साहब. लगता है बिल्कुल नई है.
उधर भोला मेरी चूत को चोदने में लगा हुआ था.
अब मैं खुद ही नौकर के लंड को अपने हाथ में लेकर तेजी के साथ रगड़ने लगी.
भोला बोला- देख साले, आज तुझे भी हिरोइन जैसी मस्त आइटम का मजा मिल रहा है.
नौकर बोला- आपकी कृपा है साहब.
फिर भोला ने कहा- बंध्या, तुम जरा पोजीशन बदल लो तो और मजा आयेगा.
मैंने पोजीशन बदल ली. अब भोला मेरे पीछे की तरफ मेरी कमर को मोड़ कर पीछे से लंड मेरी चूत में घुसाने लगा. वो एक बार पूरा लंड बाहर निकाल लेता और फिर पूरा लंड अंदर डाल देता.
मुझे पता नहीं क्या हो गया कि मैंने नौकर का लंड अपने मुंह में भर लिया और उसको जोर से चूसने लगी. भोला के लंड की चुदाई से मैं अपने होश में नहीं थी.
नौकर बोला- आह्ह … मैंने तो सोचा भी नहीं था कि तू मेरा लंड अपने मुंह में ले लेगी. तू तो बहुत मस्त आइटम है.
मैं जोर से नौकर का लंड अपने मुंह में दांतों से दबाते हुए चूसने लगी. इधर भोला मेरी चूत को पेलते हुए मुझे गंदी-गंदी गालियां दे रहा था.
कुछ देर के बाद मेरी मुंडी उस तरफ घूमी जहां पर जीजा कुर्सी पर बैठे हुए थे. वो अपने लंड को अपनी पैंट के ऊपर से ही सहला रहे थे. उनका लंड उनकी पैंट में पूरा तना हुआ था और वो उसको हाथ से ही शांत करने की कोशिश कर रहे थे. मगर जब सामने चुदाई चल रही हो तो लंड को हाथ से संतुष्टि मिलना बहुत मुश्किल होता है. शायद उनका लंड भी मुझे इस तरह से मस्ती में चुदाई करवाते हुए देख कर दोबारा से चोदने के लिए जिद करने लगा था.
फिर जीजा ने अपना लंड अपनी जिप से बाहर निकाल लिया और उसको जोर से हिलाने लगे. मैं जीजा को देख कर सोचने लगी कि जीजा तो मेरे अपने हैं. उनको इस तरह से मेरी चूत के तरसता नहीं छोड़ सकती मैं. जीजा को इस तरह लंड के साथ तड़पते देख कर मुझे उन पर दया आ गई. भले ही उन्होंने मेरी चूत को प्यासी छोड़ कर अपने लंड का पानी निकाल दिया था लेकिन मेरी चूत पर भोला से पहला हक तो मेरे जीजा का ही बनता था.
भोला का लंड तो जीजा के लंड से कहीं ज्यादा मोटा और तगड़ा था. वह मेरी चूत को चोदते हुए अपनी ही मस्ती में खोया हुआ था. मेरी चूत की प्यास बुझने लगी थी. साथ ही नौकर के लंड ने मेरे मुंह को भी बंद कर दिया था. मेरी चूत और मुंह में लंड का मजा मैं ले रही थी तो फिर जीजा को इस तरह अकेले कुर्सी पर बैठे हुए मजे के लिए कैसे तड़पा सकती थी.
मैंने जीजा को अपने हाथ से अपनी तरफ आने का इशारा किया.
भोला ने जीजा की तरफ देखा और बोले- देख, ये तेरी बेटी कितनी अच्छी है. ये तो तेरा अपना माल है. तुम वहां अकेले क्यों बैठे हो. यहां आ जाओ और मजे ले लो. तुम्हारे लिये भी यह लॉज हमेशा फ्री ही रहेगा. सारे गिले-शिकवे भूल जाओ और हमारे साथ आकर मजे लो. तेरी बेटी बहुत मस्त आइटम है. ऐसा माल कहीं मिलता है क्या?
तभी जीजा बेड के पास आकर खड़े हो गए और अपनी पैंट को खोलने लगे. अपनी पैंट को खोलते हुए जीजा बोले- बंध्या, तू तो बहुत ही चुदक्कड़ है. जब ये लोग रूम में आये थे तो मैं तभी समझ गया था कि ये लोग तुझे चोदने के लिए ही आये हैं. लेकिन मैं सोच रहा था कि शायद तुम्हारा मन इनसे चुदने का नहीं हो इसलिए मैंने मना किया था मगर तुमने तो सारी हद पार कर दी. तुम तो चुदाई के सारे रिकॉर्ड तोड़ रही हो. तुम्हारे साथ तो सब कुछ जायज है.
ऐसा कहते हुए जीजा ने अपनी पैंट निकाल दी और फिर अपने तने हुए लौड़े से अंडरवियर हटाकर वह भी उतार फेंकी और जीजा का मस्ता लौड़ा खड़ा हुआ मेरे सामने था. भोला ने जीजा से कहा- बस तू कुछ देर इसकी चुम्मी लेना शुरू कर. मेरा भी होने ही वाला है. कहते हुए भोला ने मेरी चूत में और तेजी के साथ धक्के लगाने शुरू कर दिये.
कहानी अगले भाग में जारी रहेगी. कहानी पर अपनी राय देने के लिए नीचे दिये गये कमेंट बॉक्स के जरिये अपने विचार जरूर बतायें. मुझे बतायें कि क्या आशीष को बिना बताये मैंने जीजा और लॉज के मैनेजर से चूत चुदवाकर जो मजा लिया वो कहां तक सही था.
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